रिटायरमेंट के बाद जिंदगी में फिर से बहार आयी- 1

Hindi Sex Stories

मैरिड लाइफ सेक्स कहानी में पढ़ें कि दो दोस्तों की शादी हुई, उनकी बीवियां भी सहेलियां बन गयी. लेकिन रिटायरमेंट के बाद जब वे मिले तो चारों अपने साथी से खुश नहीं थे.

प्रिय पाठको, मेरी पिछली कहानी

आप सबने पसंद की.
धन्यवाद.

इस नई मैरिड लाइफ सेक्स कहानी में अशोक और अनिशा, रत्न और रंजना पति पत्नी थे।
चारों में दोस्ती थी।

अशोक दूसरे शहर में नौकरी पर चला गया।

60 की उम्र में रिटायर होने के बाद चारों फिर मिले।

इन सालों में उनकी पत्नियों की पसंद नापसन्द उनसे अलग हो गयी थी, इस बात से झगड़ा होता था।

उन्होंने पाया अशोक कि पसन्द नापसन्द रंजना से मिलती थी, रत्न की पसन्द नापसन्द अनिशा से मिलती थी।
तो उन्होंने बाकी जीवन सुख से रहने का उपाय ढूंढ निकाला.

यह कहानी मुझे मेरे पुराने सहकर्मी ने बताई जो उम्र में मुझसे काफी बड़े है और रिटायरमेंट के बाद दूसरे शहर में बस गए हैं।
उनको मालूम है कि मैं यौन सबंधी कहानी लिखता हूँ।

सहकर्मी का अपनी कहानी बताने का उद्देश्य है कि अगर मौका मिलने पर कोशिश की जाये तो किसी भी उम्र में, जिंदगी में निराशा की जगह फिर से बहार आ सकती है.

मैं सभी के नाम बदलकर लिख रहा हूँ.

रत्न और अशोक इंजीनियरिंग पढ़े।

1981 जब उनकी उम्र 22 साल थी, कैंपस इंटरव्यू में दोनों को दूसरे शहर में एक ही कंपनी में नौकरी मिली।
नए शहर में दोनों साथ रहते थे। उन्होंने कभी सेक्स नहीं किया था.

दोनों ने तय किया 24 की उम्र में शादी करेंगे।
पत्नी बहुत सुन्दर नहीं चाहिए, सुना है बहुत सुंदर स्त्री के नखरे बहुत होते हैं और लोगों की ताक झांक का टेंशन अलग।
पत्नी बस इतनी ही सुन्दर होनी चाहिए कि घर जाने का मन करे.

24 की उम्र में रत्न ने अपने घर वालों के साथ कई लड़कियां देखी, उसे रंजना पसंद आयी।
रंजना स्वस्थ, थोड़ी सुन्दर और हंसमुख पढ़ी लिखी थी।

उनकी शादी हो गयी।

उसी तरह अशोक ने कई लड़कियां देखकर अनिशा को पसंद किया.
अशोक की भी शादी एक महीने बाद हो गयी.

अशोक ने अपनी सुहागरात रत्न को फ़ोन किया- रत्न , मैं बाथरूम से बोल रहा हूँ। एक समस्या है, मैं डाल नहीं पा रहा हूँ, बहुत टाइट है.
रत्न – अपने लंड पर तेल लगाकर कोशिश कर!

सुबह अशोक ने रत्न को फ़ोन पर धन्यवाद कहा कि उसकी सलाह काम कर गयी.

दोनों दोस्त पास पास फ्लैट किराये पर लेकर अपनी पत्नियों के साथ रहने लगे।
काम से वापस आकर अपनी पत्नियों के साथ यौन क्रीड़ा में मस्त हो जाते।

सिर्फ छुट्टी वाले दिन चारों मिलते, उनकी पत्नियों की भी आपस में अच्छी दोस्ती हो गयी.

एक साल बाद दोनों दोस्त पिता बन गए।

जब बच्चे थोड़े बड़े, हुए चारों मिलकर पार्टी करते।
रंजना और अनिशा को उनके पतियों ने वोडका में लिम्का मिलाकर पीना सीखा दिया, रत्न अशोक व्हिस्की पीते।
चारों साथ पीते, चिकन खाते, खूब हंसी मजाक होता, अश्लील चुटकुले भी होते.

बच्चा होने के बाद रंजना और अनिशा का बदन भर गया, दोनों और आकर्षक और सेक्सी लगती, बड़े चूचे, उभरे कूल्हे।
पर अशोक और रत्न ने अपने दोस्त की पत्नी को कभी बुरी नज़र से नहीं देखा।
दोनों अपनी पत्नियों से खुश थे.

ऐसे हो 8 साल बीत गए, चारों में बहुत अच्छी दोस्ती हो गयी।
सुख दुःख में काम आते, साथ बाहर घूमने जाते।

एक दिन अशोक ने बताया की उसे दूसरे शहर में ज्यादा अच्छी नौकरी मिल गयी।

भरे मन से अशोक और अनिशा चले गए।

उन दिनों मोबाइल नहीं था, इंटरनेट भी नया आया था।
कुछ समय लैंड लाइन पर उनका संपर्क रहा, फिर वह भी ख़त्म हो गया।
सभी अपने जीवन में व्यस्त हो गए.

साठ साल की उम्र में रत्न रिटायर हो गया।
उस समय इंटरनेट, व्हाट्सअप आ गया था।

वह अपने पुराने दोस्तों को ढूढ़ने लगा, उसका अशोक से संपर्क हुआ।
अशोक भी रिटायर हो चुका था।

रत्न पुणे में और अशोक नई मुंबई में रहता था।
दोनों दोस्तों के बच्चे दूसरे शहर में बस गए थे.

रत्न ने अशोक को फ़ोन किया- अशोक, मैं और रंजना एक हफ्ते के लिए हिल स्टेशन महाबलेश्वर जा रहे है, तुम दोनों आ जाओ तो मजा आएगा।
अशोक आने के लिए राजी हो गया.

रत्न ने रिसोर्ट में एक कॉटेज बुक किया, उसमें दो बेडरूम और एक ड्राइंगरूम था।

तय दिन चारों दोपहर को महाबलेश्वर अपनी कार से पहुंचे.

चारों इतने साल बाद मिलकर बहुत खुश हुए, पुराने दिनों की बातें करने लगे।
रत्न थोड़ा मोटा हो गया था पर 60 की उम्र में भी उसमें काफी उत्साह था.
उसकी पत्नी रंजना 58 की थी, पर एकदम सूख गयी थी, दुबली, पिचके गाल।

अशोक दुबला और 60 की उम्र से ज्यादा का लग रहा था.
उसकी पत्नी अनिशा 58 की थी।

अनिशा पहले की तरह भरे पूरे शरीर की थी, आकर्षक लग रही थी.

रत्न – इतने साल बहुत मेहनत की, अब रिटायर होकर मनपसंद जगह घूमूँगा। जब इच्छा हो व्हिस्की पिऊंगा, चिकन और अच्छा खाना खाऊंगा, ऐश करूंगा। मैं अपने साथ व्हिस्की, वोडका, लिम्का लाया हूँ। चारों पुराने दिनों की तरह पार्टी करेंगे.

अशोक- मैं ज्यादा समय पूजा पाठ व्रत उपवास और तीर्थ यात्रा में लगाऊंगा। मैंने व्हिस्की पीना छोड़ दिया है, शाकाहारी हो गया हूँ। रंजन, तुम्हारे विचार मेरी बीवी अनिशा से मिलते है, उसको भी अच्छा खाना और घूमना अच्छा लगता है.
रत्न – अशोक, मेरी बीवी रंजना को तुम्हारे समान पूजा पाठ व्रत उपवास अच्छा लगता है.

शाम को चारों घूमने निकले.
चारों ने एक मंदिर में दर्शन किये।

अशोक पुजारी से बात करने लगा, रंजना अशोक के साथ खड़ी होकर पुजारी की बातें सुनने लगी।

रत्न मंदिर के आस पास के प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद ले रहा था, फोटो खींच रहा था.
अनिशा उसके साथ थी.

दूसरे दिन सुबह चारों जब झील में नाव में घूम रहे थे तो अशोक बोला- यहाँ से 60 किलो मीटर दूर एक मंदिर है, आज शाम को वहाँ विशेष पूजा होने वाली है. मैं जा रहा हूँ, और कोई जाएगा क्या?
सिर्फ रंजना बोली- मैं जाऊंगी.

अशोक- रंजन, अनिशा तुम्हें कोई आपत्ति तो नहीं है, यदि मैं और रंजना जायें?
दोनों ने कहा- कोई प्रॉब्लम नहीं।

दोपहर को अशोक और रंजना चले गए.

जून का महीना था, शाम को जब रत्न अनिशा बाजार में चाट खा रहे थे.
तभी तेज हवा के साथ बारिश होने लगी।

दोनों भागकर कार तक गए और रिसोर्ट पहुंचे।

बारिश में भीगने से अनिशा के बदन में साड़ी चिपक गयी थी, उसका भरा बदन, भीगे बाल आकर्षक लग रहे थे।
रत्न मुग्ध होकर अनिशा को देख रहा था।

अनिशा मुस्कुराकर बोली- रत्न, ऐसे देख रहे हो, क्या इरादा है?
रत्न- इस उम्र में भी अनिशा तुम कितनी सुन्दर लगती हो, तुम्हारे पति अशोक की किस्मत अच्छी है।

अनिशा ने लम्बी साँस भरकर कहा- अशोक को पूजा और कर्मकांड से फुर्सत कहाँ जो मुझे देखे!

कपड़े बदलकर जब दोनों कॉटेज के ड्राइंग रूम में चाय पी रहे थे.
अशोक का फ़ोन आया, उसने कहा- फ़ोन स्पीकर पर रखो, रत्न को बुला लो.

अशोक- यहाँ तेज आंधी बारिश हो रही है, खबर मिली है कि पेड़ गिरने से रास्ता बंद हो गया है। हम लोग कल ही आ पायेंगे.
रत्न- यहाँ भी बारिश हो रही है हम दोनों रिसोर्ट में हैं. फ़िक्र मत करो, मैं तुम्हारी बीवी अनिशा का ख्याल रखूँगा.

अनिशा- मैं यहाँ ठीक हूँ, अपना और रंजना का ख्याल रखना!

मंदिर के पास ही भक्तो के लिए कुछ कमरे थे।
अशोक, रंजना जब कमरा बुक करने गए, एक ही कमरा खाली था.

अशोक- रंजना क्या करें?
रंजना- मुश्किल क्या है, इस उम्र में संकोच क्यों?

रात को दोनों एक ही पलंग पर लेटते ही सो गए.

रिसोर्ट में रत्न- अनिशा, मैं वोडका लिम्का साथ लाया हूँ, आज रात पार्टी करें? चिकन टिक्का और खाना मंगवा लेते हैं.
अनिशा- हाँ, बहुत सालों से वोडका नहीं पी, आज हो जाये!

अनिशा वोडका, रत्न व्हिस्की पी रहे थे.

तब अनिशा बोली- हम 28 साल बाद मिले हैं। तुम्हारी जिंदगी कैसी रही, बताओ? तुम्हारी पत्नी रंजना एकदम सूख गयी है और उम्र से ज्यादा बूढ़ी दिखती है.

रत्न- कुछ साल तो जिंदगी ठीक चली। रंजना जब 43 की थी और मैं 45 का, रंजना कोई गुरु के आश्रम जाने लगी। ज्यादा समय पूजा और कर्मकांड में लगाती। रंजना ने हमारे बीच पति पत्नी का शारीरिक रिश्ता ख़त्म कर दिया। मैं जब भी रंजना के पास जाने की कोशिश करता तो वह कहती कि अब अच्छा नहीं लगता, तुम किसी को ढूंढ लो, पर कोई बच्चा लाकर यह मत कहना कि मेरा बच्चा है तुम पालो। बहुत उपवास पूजा पाठ करने लगी, उससे सूख गयी, बूढ़ी दिखने लगी.

आगे रत्न ने बताया- रंजना के लिए घूमने जाना मतलब मंदिर या तीर्थ स्थल, मैं कुछ बार उसके साथ गया। पर रंजना कोई मेरे साथ कोई पर्यटक स्थल जाकर खुश नहीं होती थी। मैं भगवान में विश्वास करता हूँ पर दिन भर कर्मकांड नहीं करता। रंजना शुभ प्रभात चुम्बन भी नहीं देती।

तब उसने अनिशा से पूछा- तुम अपने बारे में बताओ?

अनिशा- हम पुराने दोस्त हैं, तुमसे क्या छिपाना। मेरी हालत भी तुम्हारे जैसी ही है। 15 वर्ष पहले तक सब ठीक था। फिर अशोक को धर्म और कर्मकांड का नशा चढ़ा। उसके बाद हम सिर्फ तीर्थ स्थल गए, और कहीं नहीं।
अशोक मुझसे दूर ही रहता है। मैं कभी कभी सहेलियों के साथ पार्टी कर लेती थी, बाद में वह भी बंद हो गया। आज तुम्हारे साथ पानी पूरी, चाट खाकर मजा आ गया और अब ये पार्टी!

अनिशा अपने पाँव दबा रही थी.
रत्न के पूछने पर बोली- इन पहाड़ी रास्तों में चलने से दुःख रहे हैं।

तो रत्न अपने कमरे से तौलिया और तेल ले आया.
रत्न सोफे पर बैठकर तौलिया अपनी जांघों पर बिछाकर अनिशा को बोला- अपने पैर मेरी गोद में रखो, मैं पैर की मालिश कर देता हूँ।
अनिशा ना ना बोलने लगी.

रत्न- जब दोस्त कहा है तो इतना तो करने दो!

अनिशा ने अपनी मैक्सी घुटनों तक उठाई और अपने पैर रत्न की गोद में रख दिए।
रत्न प्यार से अनिशा के मांसल पैरों की मालिश करने लगा.

इतने सालों बाद स्त्री शरीर, वो भी इतने मांसल, के स्पर्श से रत्न को असीम सुख मिल रहा था।
अनिशा को इतने सालों बाद पुरुष का प्यार भरा स्पर्श और परवाह पुलकित कर रहा था, वह प्यार भरी नजर से रत्न को निहार रही थी.

रत्न शरारत से अनिशा की जांघ की ओर इशारा करके बोला- यहां भी दुःख रहा है क्या?
अनिशा ने भी शरारत से कहा- आज के लिए इतना ही काफी है.

खाना कहते समय अगली सुबह का कार्यक्रम तय हुआ।
सुबह जल्दी उठकर सनराइज देखना है, नाश्ते के बाद घुड़सवारी।

दोनों अपने अपने अपने कमरे में जाकर सो गए.

सुबह दोनों तैयार हुए, अनिशा ने गुलाबी लेगी, टी शर्ट पहना था, उसके मांसल पैर, जांघ, उभरे चूचे सुन्दर लग रहे थे, रत्न मुग्ध देख रहा था।
अनिशा हाथ फैलाकर बोली- गुड मॉर्निंग नहीं कहोगे?
रत्न ने तुरंत अनिशा की आलिंगन में ले लिया, उसकी आंख और गाल चूमकर गुड मॉर्निंग कहा।

अनिशा के हाथ रत्न की पीठ पर थे, दोनों की छाती आपस में चिपकी थी।
दोनों आलिंगन में 10 मिनट से खड़े थे.

अनिशा बोली- देर हो रही है!

सूर्योदय देखने के बाद जब घुड़सवारी का समय आया तो अनिशा बोली- मुझे अकेली घोड़े पर बैठने से डर लगता है।

तो दोनों एक घोड़े पर बैठे, अनिशा सामने थी, रत्न पीछे।
अनिशा के मांसल कूल्हे अशोक के लंड को कपड़ों के ऊपर से छू रहे थे।

रत्न का लंड खड़ा हो गया, अनिशा खड़ा लंड महसूस करके बोली- लगता है मेरी पूंछ निकल आयी है।
दोनों हंस पड़े।

कोई बोला- क्या शानदार जोड़ा है, इस उम्र में भी कितनी मस्ती कर रहे हैं।
उसके बाद कई जोड़े एक साथ घोड़े पर बैठे.

रत्न अनिशा चहकते हुए रिसोर्ट पहुंचे, जैसे जवानी लौट आयी हो।

थोड़ी देर में अशोक और रंजना भी आ गए.
वे दोनो संतुष्ट लग रहे थे।

उन्होंने बताया कि मंदिर में बहुत अच्छा लगा.

अनिशा- मैंने और अशोक ने कल पार्टी की, आज घुड़सवारी की, बहुत मजा आया.

रंजना- मंदिर की सीढ़ियां चढ़ने से मेरे पांव दुःख रहे हैं.
रत्न- मैं पांव की मालिश कर दूँ?

रंजना- रत्न, तुम पांव की मालिश के बहाने इधर उधर हाथ लगाते हो, मुझे पसन्द नहीं!

अनिशा- अशोक, तुमने मेरी सहेली के पांव दुखाये, तुम मालिश करो।
थोड़ी देर ना नुकर के बाद रंजना राजी ही गयी.

अशोक ने रंजना के पांव स्टूल पर रखे और मालिश की.

महाबलेश्वर में आये उन्हें चार दिन हो गए।
अक्सर अशोक और रंजना साथ घूमने जाते।
अलग से रत्न और अनिशा अपनी पसंद की जगह घूमते, अपनी पसंद का खाते, हंसी मजाक करते.

उनकी निकटता बढ़ रही थी.

पांचवे दिन सुबह अनिशा और रंजना शॉपिंग करने गए।
अशोक रत्न रिसोर्ट में बातें करने बैठे.

अशोक- मेरी और मेरी पत्नी अनिशा की पसंद अलग हो गयी है। मुझे पूजा पाठ तीर्थ उपवास अच्छा लगता है। अनिशा को पर्यटन स्थल में घूमना, पार्टी करना, नॉन वेज खाना, मस्ती करना अच्छा लगता है। मुझे सेक्स में भी रूचि नहीं रही, मैं अनिशा की शारीरिक जरूरत को पूरी नहीं कर पाता हूँ। मुझे बुरा लगता है.

और अशोक ने कहा- रत्न, मैंने देखा है महाबलेश्वर आकर, तुम्हारा साथ पाकर अनिशा बहुत खुश है। तुम्हारी पसन्द अनिशा से मिलती है.

रत्न- मेरी तमन्ना है कि रिटायर होने के बाद घूमूं फिरूं … कभी होटल में खाऊं, पार्टी मस्ती करूं। पर रंजना को यह सब अच्छा नहीं लगता, उसको तो पति का छूना भी अच्छा नहीं लगता। मैं पूजा पाठ कर्मकांड में उसका साथ नहीं देता, मुझे बुरा लगता है.

और रत्न ने कहा- अशोक, रंजना तुम्हारे साथ ज्यादा खुश दिखती है, तुम दोनों की पसंद मिलती है। क्या हम चारों एक साथ रह सकते हैं? एक दूसरे का सहारा भी रहेगा। पुणे के पास एक बंगला बिक रहा है। उसमें 4 बेडरूम, 2 किचन, बैठक, बरामदा है। बंगले के पीछे सुन्दर मंदिर है, बगीचे के लिए जगह है। मैं अकेले खरीद नहीं सकता, हम दोनों मिलकर खरीद सकते हैं.

अशोक- हाँ, हम मिलकर चारों के नाम से बंगला खरीद सकते हैं.

रत्न- अशोक, मैं एक बात स्पष्ट पूछता हूँ, अगर अनिशा के साथ मेरे यौन सम्बंध हो गए तो तुम्हें बुरा लगेगा?

अशोक- यदि अनिशा को तुम्हारे साथ यौन सम्बंध से ख़ुशी मिलती है, तो मैं खुश होऊंगा। घर की बात घर में ही रहेगी.

शॉपिंग के बाद अनिशा और रंजना बात कर रहे थे.

रंजना- अनिशा, रत्न तुम्हारे साथ खुश दिखता है, मुझे इस बात से ख़ुशी है। मेरी और मेरे पति की पसंद अलग है, उससे हम दोनों में मनमुटाव होता है। मुझे यौन में रूचि नहीं रही, रत्न के लिए बुरा लगता है.

अनिशा- मैंने देखा है रंजना कि तुम अशोक के साथ खुश हो। मुझे रत्न का साथ अच्छा लगता है। पर डर है, रत्न के ज्यादा पास जाने से हमारा यौन सम्बन्ध हो सकता है, फिर तुम्हें और अशोक को बुरा लगेगा.

रंजना- बुरा नहीं लगेगा, मुझे रत्न को खुश देखकर अच्छा लगेगा.

रंजना और अनिशा रिसोर्ट पहुंची।

उनके पतियों ने दोनों दोस्तों में क्या बात हुई विस्तार से बताया।
अनिशा, रंजना को बंगले का प्रस्ताव पसंद आया।
तय हुआ, समाज की नजर में रंजन, रंजना और अशोक, अनिशा पति पत्नी ही रहेंगे।
बंगले में रत्न अनिशा, अशोक रंजना पति पत्नी की तरह रहेंगे।
पति पत्नी अदला बदली तय हो गयी.

बंगले में जाने के बाद क्या हुआ, पढ़े अगले भाग में!

आपको यह मैरिड लाइफ सेक्स कहानी कैसी लग रही है?
मुझे बतायें कमेंट्स और मेल में!
अपने विचार बताते समय कहानी का नाम भी लिखें.

मैरिड लाइफ सेक्स कहानी का अगला भाग:

Related Posts

Leave a Reply

DMCA Notice: RedHotStories.com respects the intellectual property rights of others and complies with the Digital Millennium Copyright Act (DMCA). If you believe that any content on this website infringes upon your copyright, please send a detailed notice to admin@redhotstories.com including: (1) your contact information, (2) a description of the copyrighted work you claim has been infringed, (3) the exact URL(s) of the allegedly infringing material, (4) a statement that you have a good faith belief that use of the material is not authorized by the copyright owner, and (5) a statement made under penalty of perjury that the information in your notice is accurate and that you are authorized to act on behalf of the copyright owner. Upon receiving a valid DMCA request, we will review and remove the infringing content promptly.